Bihar Fasal Bima बिहार सरकार द्वारा किसानो की मदद के लिए शुरू की गयी है ,जो प्राकृतिक आपदाओं के समय उनके नुकसान की भरपाई कर उन्हें दोबारा खेती करने की प्रेरणा देती है। इस योजना द्वारा सरकार किसानो की प्राकर्तिक आपदाओं में खराब हुई फसलों के नुकसान की भरपाई के लिए आर्थिक सहायता प्रदान करती हैं। इस योजना द्वारा सरकार किसानो की मदद करती है ताकि वे पुनः अपनी खेती शुरू कर सकें और उनकी आजीविका प्रभावित न हो। यह योजना किसानों को आत्मनिर्भर बनाने और कृषि क्षेत्र में स्थिरता लाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
बिहार फसल बीमा का अवलोकन – Overview Of Bihar Fasal Bima
विवरण | जानकारी |
योजना का नाम | बिहार राज्य फसल सहायता योजना |
प्रारंभ वर्ष | 2018 |
लाभार्थी | बिहार राज्य के किसान (रैयत और गैर-रैयत दोनों) |
उद्देश्य | प्राकृतिक आपदाओं से फसल नुकसान पर वित्तीय सहायता प्रदान करना |
योजना प्रकार | राज्य सरकार द्वारा प्रायोजित (निःशुल्क बीमा सहायता) |
बीमा प्रीमियम | कोई प्रीमियम नहीं |
आवेदन प्रक्रिया | ऑनलाइन https://esahkari.bihar.gov.in/ |
अधिकतम सीमा | अधिकतम 2 हेक्टेयर तक का मुआवजा |
Objectives Of Bihar Fasal Bima – बिहार फसल बीमा योजना का उद्देश्य
- किसानों की आर्थिक स्थिति को स्थिर करना।
- फसल खराब होने की स्थिति में सीधी वित्तीय सहायता प्रदान करना।
- किसानों को आत्मनिर्भर बनाना और खेती के प्रति उनका भरोसा बनाए रखना।
- बिचौलियों को हटाकर DBT (Direct Benefit Transfer) के माध्यम से सहायता राशि सीधे किसान के खाते में भेजना।
बिहार फसल बीमा के लिए पात्रता मानदंड
बिहार फसल बिमा योजना के लिए कौन – कौन पात्र है इसकी जानकारी निम्नलिखित है:
- किसान बिहार राज्य के स्थायी निवासी होने चाहिए।
- किसान रैयत या बटाईदार (किराए पर खेती करने वाले) हो सकते हैं।
- किसान की फसल प्राकृतिक आपदाओं के कारण नुकसान ग्रस्त होनी चाहिए।
- किसान के पास आधार कार्ड, बैंक खाता, और भूमि संबंधी दस्तावेज होने चाहिए।
- किसान को अधिसूचित फसलों में से एक फसल की खेती करनी होगी।
Benefits Of Bihar Fasal Bima – बिहार फसल बीमा योजना के लाभ
- इस योजना के तहत किसानों से Premium नहीं लिया जाता है, अर्थात यह एक निःशुल्क सहायता योजना है।
- इस योजना के माध्यम से किसानों को इन आपदाओं से होने वाले नुकसान की भरपाई की जाती है।
- इस योजना का लाभ रैयत और गैर-रैयत दोनों प्रकार के किसान उठा सकते हैं, जिससे अधिक से अधिक किसानों को सहायता मिलती है।
- रबी और खरीफ दोनों प्रकार की फसलों के लिए इस योजना के तहत आवेदन किया जा सकता है ।
- 20% तक नुकसान पर किसानो को प्रति हेक्टेयर ₹7,500 की सहायता।
- 20% से अधिक नुकसान पर किसानो को प्रति हेक्टेयर ₹10,000 की सहायता।
- यह सहायता राशि सीधे किसानों के बैंक खातों में DBT (Direct Benefit Transfer) के माध्यम से भेजी जाती है । इसी प्रकार झारखंड सरकार द्वारा लागु की गयी झारखंड राज्य फसल राहत योजना एक महत्त्वपूर्ण कदम है, जिसका उद्देश्य प्राकृतिक आपदा से प्रभावित किसानों को आर्थिक सहायता प्रदान करना है।
बिहार फसल बीमा की आवेदन प्रक्रिया – Applying Procedure of Bihar Fasal Bima Yojana
इस योजना में Online Apply करने के लिए निम्नलिखित Steps को follow करें :
- आवेदन के लिए official website पर जाएं।
- यदि आपने पहले से registration नहीं किया है, तो “कृषि विभाग में किसान निबंधन के लिए यहाँ क्लिक करें” पर click करें। यहां आपको Aadhaar Verification के माध्यम से Bihar Fasal Bima Yojana Online Registration करना होगा।
- Registration के बाद, आपको एक उपयोगकर्ता नाम और पासवर्ड मिलेगा। इन्हें Login करने के लिए उपयोग करें।
- Login करने के बाद, फसल सहायता योजना के लिए आवेदन पत्र भरें। यहां आपको अपनी व्यक्तिगत जानकारी, फसल की जानकारी और अन्य आवश्यक विवरण भरने होंगे।
- आवेदन पत्र में मांगे गए सभी दस्तावेज़ जैसे आधार कार्ड, बैंक पासबुक, भूमि स्वामित्व प्रमाण पत्र, स्व-घोषणा पत्र आदि अपलोड करें।
- सभी जानकारी सही-सही भरने के बाद, आवेदन पत्र submit करें। आवेदन submit करने के बाद, आपको एक receipt प्राप्त होगी, जिसे भविष्य में उपयोग के लिए सुरक्षित रखें।
Procedure of Bihar Fasal Bima Status Check
- आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।
- वेबसाइट के होमपेज पर “किसान कॉर्नर” सेक्शन में “भुगतान की स्थिति” पर क्लिक करें।
- वर्ष का चयन करें (रबी/खरीफ)। सहकारिता विभाग की पावती संख्या या कृषि विभाग की पंजीकरण संख्या दर्ज करें।
- भुगतान की स्थिति देखें” बटन पर क्लिक करें।
Required Documents For Bihar Fasal Bima
- आधार कार्ड
- बैंक पासबुक की पहली पृष्ठ की कॉपी
- भूमि संबंधी दस्तावेज़ (जैसे भूमि स्वामित्व प्रमाण पत्र)
- पासपोर्ट साइज फोटो
- मोबाइल नंबर
- ईमेल आईडी (यदि उपलब्ध हो)
प्रमुख फसलें जो इस योजना में शामिल हैं
रबी फसलें
- गेहूं
- मक्का
- मसूर
- अरहर (तुअर)
- चना
- राई-सरसों
- आलू
- प्याज
खरीफ फसलें
- अगहनी धान
- भदई मक्का
- भदई सोयाबीन
- अगहनी आलू
- अगहनी बैंगन
- अगहनी टमाटर
- अगहनी गोभी
इसी प्रकार अन्य योजनाओ की जानकारी एवं लाभ प्राप्त करने के लिए हमारी वेबसाइट kusum yojana को visit करें।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
इस योजना के तहत किसानों को प्राकृतिक आपदाओं जैसे बाढ़, सूखा, ओलावृष्टि आदि के कारण फसल में हुए नुकसान की भरपाई के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। जिसमें फसल क्षति पर प्रति हेक्टेयर ₹7,500 या ₹10,000 दी जाती है।
आधिकारिक वेबसाइट के होमपेज पर पहुंचने के बाद आवेदक को “आवेदन स्थिति” विकल्प पर क्लिक करना होगा।